इस मामले में उन्होंने कहा कि यह सरकार को सौंपी जाएगी, इसलिए रिपोर्ट की कॉपी नहीं दी जा सकती। जांच टीम ने कहा कि यदि कॉपी चाहिए तो आरटीआई लगानी होगी। आद्या के पिता जयंत सिंह का कहना है कि Fortis Hospital ने उनका विश्वास तोड़ दिया।
वह बेटी को बचाने के लिए इतने बड़े Fortis Hospital लेकर गए थे। अस्पताल द्वारा 15.79 लाख रुपये का बिल थमाने के बाद उन्होंने 5 लाख रुपये का पर्सनल लोन लेकर अस्पताल का फर्जी बिल चुकाया था।
5 लाख रुपये मेडिकल कवर मिला था और बाकी रकम क्रेडिट व डेबिट कार्ड से दिए थे। उन्होंने कहा कि अस्पताल ने 24 नवंबर को उनसे संपर्क साधा था। और कहा था कि, वे ऑफ द रिकॉर्ड अपनी गलती मान रहे हैं, लेकिन यह बात लिखित में नहीं दे सकते हैं।
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