पंचतंत्र
PanchTantra-टका नहीं तो टकटका
महिलारोप्य नामक जिस नगर में अमरशक्ति नाम का राजा राज करता था और जिसमें विष्णुशर्मा अपनी पाठशाला चलाते थे वह वह महिलारोप्य नामक नगर से उतना ही दूर था जितना दिल्ली,दिल्ली से दूर है।
महिलारोप्य नगर में बैठे हुए, महिलारोप्य नगर के राजा के पुत्रों को कहानी सुनाते हुए, विष्णुशर्मा कह रहे थे, दक्षिणदेश में महिलारोप्य नाम का एक नगर है। और राजकुमारों को बता रहे थे कि कहानियों का भूगोल हमारे भूगोल से कुछ अलग होता है।
उस महिलारोप्य नगर में एक बनिया रहता था। व्यापार और बेईमानी का चोली दामन का साथ होता है। पर उस बनिया के बाप ने ईमानदारी से बहुत सा धन कमा रखा था। उसका नाम वर्धमान था।
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