
यूपी के हर जिले में खुलेंगे Yoga Wellness सेन्टर

लखनऊ। उत्तर प्रदेश की योगी सरकार योगा व उपचार की भारतीय पद्धतियों को प्रोत्साहन देने के लिए सूबे के हर जिले में Yoga Wellness सेन्टर खोलने जा रही है। पहले चरण में 42 योगा वेलनेस सेन्टर खोले जाएंगे। इस कड़ी में पहला योगा वेलनेस सेन्टर मुजफ्फरनगर के कस्बा रुहाना में 3 सितम्बर से आरंभ कर दिया गया है।
आयुष की तीनो पद्धतियों से इलाज
सूबे के आयुष मंत्री स्वतंत्र प्रभार डा धर्म सिंह सैनी ने आईपीएन से बताया कि इन योगा वेलनेस सेन्टरों पर आयुष की तीनो पद्धतियों से इलाज के साथ ही योगा के जरिए स्वस्थ्य रहने के तरीके भी बताए जाएंगे। इन सेन्टरों के आरंभ होने के बाद प्रदेश के स्वास्थ्य तंत्र को और अधिक मजबूती प्रदान करने के साथ ही अधिक मरीजों को उपचार दिया जा सकेगा।
एक सप्ताह में खुलेगे 42 सेन्टर
उन्होंने बताया कि आने वाले एक सप्ताह के अन्दर 42 और योगा वेलनेस सेन्टर खोल दिए जाएंगे। इसके बाद बचे हुए अन्य जिलों में चालू वित्त वर्ष में यह सेन्टर खोल दिए जाएंगे। डा सैनी ने बताया कि इन सेन्टरों पर भारतीय पद्धतियों से लोगों को सस्ता इलाज उपलब्ध कराया जाएगा तथा दवाएं भी निःशुल्क दी जाएंगी। उनका कहना था कि पिछली सरकारों ने उपचार की भारतीय पद्धतियों की अनदेखी की थी जिसके चलते यह उपेक्षा का शिकार हुई है पर अब यह सरकार उपचार की आयुर्वेदिक, यूनानी व होम्योपैथिक पद्धतियों को प्रोत्साहन देने के साथ ही योग के जरिए स्वस्थ रहने की विद्या भी सिखाएगी।
जल्द खुलेंगे आयुष अस्पताल
मंत्री ने कहा कि इन तरीको से होने वाला उपचार काफी सस्ता व भरोसेमंद भी होता है जिससे जनता को कम पैसे पर बेहतर उपचार मिल सकेगा। उन्होंने बताया कि आने वाले समय में यूपी में 50 बेड के 6 आयुष अस्पताल लखनऊ, कुशीनगर, बस्ती, वाराणसी, कानपुर व बरेली में खोले जाएंगे। इसके बाद इसी तर्ज पर 10 अन्य अस्पताल भी खोले जाएंगे। सरकार होम्योपैथी के दो नए कालेज खोलने जा रही है। इन कालेजों की ओपीडी आरंभ हो चुकी है।
उन्होंने कहा कि इससे पं दीनदयाल उपाध्याय जी के अन्त्योदय का लक्ष्य पूरा हो सकेगा। पं दीनदयाल का संकल्प समाज के अन्तिम कतार में खडे़ व्यक्ति तक सुविधाओं को पहुंचाने का था और देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने इसी को एक मिशन का रुप देकर समाज के अन्तिम व्यक्ति को सस्ती और बेहतर चिकित्सा सेवा आयुष मिशन के जरिए उपलब्ध कराने का खाका खींचा है। डा. सैनी जो खुद पेशे से आयुर्वेदिक चिकित्सक है, उनका कहना है कि जनता का भरोसा आज भी इन विद्याओं पर कायम है बस जरूरत उन तक साधनों के साथ सेवा पहुंचाने की है।
वेलनेस सेन्टरों के जरिए इलाज
इस दिशा में सभी संसाधन पूरे करते हुए इन वेलनेस सेन्टरों के जरिए उपचार मुहैया कराया जाएगा। उनका कहना है कि आज भी बहुत ऐसे लोग है जो केवल आयुष की पद्धतियों से ही उपचार कराने में भरोसा करते हैं। उनका कहा कि ऐसे लोगों के उपचार के लिए ही यह वेलनेस सेन्टर होंगे, जो सभी सुविधाओं से युक्त होंगे। एक बार जब यह सेन्टर उपचार देना शुरु कर देंगे तो फिर लोगों का रुझान इस ओर अपने आप बढऩे लगेगा।
मंत्री सैनी ने कहा कि भारतीय पद्धतियों से होने वाले इलाज के विपरीत प्रभाव भी नहीं होते हैं। इसके साथ ही सरकार आयुष विद्या से जुडी पद्धतियों के मेडिकल कालेजों में जो भी कमियां है उन्हें भी दूर करा रही है, जिससे कि इन पद्धतियों के प्रशिक्षित डाक्टर लोगों के उपचार के लिए उपलब्ध हो सकें। डा. सैनी ने बताया कि आने वाले समय में यूपी में आयुष पद्धतियों के प्रचार प्रसार पर भी काफी जोर दिया जाएगा और जनता को इलाज के इन तरीकों के सकारात्मक पहलू बताए जाएंगे।