
पोस्टमार्टम रिपोर्ट से हुआ खुलासा, कैसे हुई थी महंत नरेंद्र गिरी की मौत
अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत नरेंद्र गिरि के पोस्टमार्टम के दौरान शुरुआती जांच में पता चला है कि उनकी मौत दम घुटने की वजह से हुई है। जानकारी के अनुसार आगे की जांच के लिए महंत नरेंद्र गिरि का विसरा सुरक्षित रखा गया है। पांच डॉक्टरों की टीम ने महंत नरेंद्र गिरि का पोस्टमार्टम किया। पोस्टमार्टम के पैनल में डॉक्टर लाल जी गौतम, डॉक्टर राजेश श्रीवास्तव, डॉक्टर अमित श्रीवास्तव, डॉक्टर बादल सिंह, डॉक्टर राजेश कुमार राय शामिल थे। इसी के साथ पूरे पोस्टमार्टम की वीडियोग्राफी भी की गई है।
जानकारी के अनुसार थोड़ी देर में उन्हें भू समाधि दी जाएगी। इस दौरान साधु को समाधि वाली स्थिति में बिठाकर ही उन्हें विदा दी जाती है। जिस मुद्रा में उन्हें बिठाया जाता है। उसे सिद्ध योग की मुद्रा कहा जाता है। आमतौर पर साधुओं को इसी मुद्रा में समाधि देते है। महंत नरेंद्र गिरि की समाधि भी इसी तरह होगी।
महंत राम विलास वेदांती ने बलबीर गिरि पर लगाए आरोप
वहीं अयोध्या से चलकर बाघंबरी गद्दी पहुंचे महंत राम विलास वेदांती का नए उत्तराधिकारी बलबीर गिरि पर बड़ा आरोप लगाया है। उन्होंने कहा कि जिस व्यक्ति का नाम सुसाइड नोट में उत्तराधिकारी के तौर पर है। ये उसी की साज़िश है। खुद महंत बनने के लिए दूसरों को फंसाने का षड्यंत्र किया गया है। गद्दी पर कब्जे के लिए ये सब किया गया है। इसके लिए सीबीआई जांच जरूरी है। और पञ्च परमेश्वर जो तय करेंगे वो उन्हें मंजूर होगा। बलबीर गिरि ने कहा कि मैं फिलहाल उत्तराधिकारी नहीं हूं। सिर्फ पंच परमेश्वर ही तय कर सकते हैं कि उत्तराधिकारी कौन होगा। मेरे खिलाफ अगर कोई आरोप हैं तो मैं जांच के लिए पूरी तरह तैयार हूं। मैं यहीं बैठा हूं कहीं नहीं जाने वाला उन्होंने आगे कहा कि मैं महंत नरेंद्र गिरि की हैंडरेटिंग नहीं पहचानता हूं। चिट्ठी के नीचे उनके साइन थे इसलिए मुझे लगा कि ये उन्होंने ही लिखी है।