फ्लैश न्यूज

मुख्यमंत्री ने किसानों तथा कृषक उत्पादक संगठनों को पुरस्कार देकर सम्मानित किया

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि चौधरी चरण सिंह के सपनों को साकार करने तथा अन्नदाता किसानों के जीवन में व्यापक परिवर्तन लाने के लिए उनकी आमदनी को दोगुना करने की दृष्टि से वर्ष 2014 में प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी ने सत्ता सम्भालते ही अनेक कार्यक्रम प्रारम्भ किये। इनका लक्ष्य था कि लागत कम हो व उत्पादकता बढ़े। किसानों के कल्याण के लिए देश में अनेक योजनाओं को आगे बढ़ाते हुए उनका प्रभावी क्रियान्वयन भी सुनिश्चित किया गया। आजाद भारत में यह प्रथम बार हुआ, जब किसान देश के राजनैतिक एजेण्डे का हिस्सा बना है। ईमानदारी से योजनाएं किसानों तक पहुंची हैं।

मुख्यमंत्री आज पूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह जी की जयन्ती किसान सम्मान दिवस के अवसर पर यहां इन्दिरा गांधी प्रतिष्ठान में आयोजित ‘एग्रीगेशन-एफ0पी0ओ0 लीडरशिप समिट एण्ड एक्जिबिशन’ कार्यक्रम में अपने विचार व्यक्त कर रहे थे। मुख्यमंत्री जी ने चौधरी चरण सिंह जी के चित्र पर पुष्प अर्पित कर उन्हें श्रद्धांजलि दी। उन्होंने विभिन्न क्षेत्रों में अच्छा कार्य करने वाले किसानों तथा एफ0पी0ओ0 को पुरस्कार देकर सम्मानित किया। इससे पूर्व, उन्होंने कृषक उत्पादक संगठनों (एफ0पी0ओ0) के उत्पादों की प्रदर्शनी का शुभारम्भ किया। मुख्यमंत्री जी ने कृषि विभाग द्वारा संचालित योजनाओं में कृषकों को अनुमन्य सुविधाएं, कृषि सम्बन्धी विषयों पर आधारित पत्रिका हरित कृषि तथा राज्य स्तरीय पुरस्कार से सम्मानित हो रहे कृषकों की विकास यात्रा पर आधारित 03 पुस्तकों तथा कृषि विभाग, उत्तर प्रदेश की कृषि वार्षिकी-2023 का विमोचन किया।

मुख्यमंत्री ने कहा कि आज महान किसान नेता चौधरी चरण सिंह जी की पावन जयन्ती है। आजादी के तत्काल बाद उन्होंने यह स्पष्ट कर दिया था कि अगर भारत को दुनिया की एक ताकत के रूप में उभरना है, तो हमें खेती व किसानी पर ध्यान देना होगा। भारत के विकास का मार्ग खेत व खलिहान से निकलेगा। आजाद भारत में कृषि व किसान कल्याण के लिए उनकी दूरदृष्टि आज हम सबके लिए मार्गदर्शक के रूप में है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि धरती माता हम सभी का पेट भरने के लिए अन्न देती है। यह हमारे स्वावलम्बन व सम्मान का आधार भी बनती है। धरती माता की सेहत की रक्षा के लिए प्रधानमंत्री जी ने स्वायल हेल्थ कार्ड की व्यवस्था प्रारम्भ की। उत्तर प्रदेश में मार्च, 2017 में सत्ता में आने के बाद हमारी सरकार ने सबसे पहले 86 लाख किसानों के 36 हजार करोड़ रुपये के फसली ऋण को माफ किया था। विगत साढ़े पांच वर्षों में प्रदेश में लगभग 22 लाख हेक्टेयर भूमि को अतिरिक्त सिंचाई की सुविधा उपलब्ध करायी गई है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि, फसल की लागत का डेढ़ गुना एम0एस0पी0 लागू करने के कार्य प्रदेश में प्रभावी ढंग से हो रहे हैं।  प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि के माध्यम से अब तक प्रदेश के 02 करोड़ 60 लाख किसानों के बैंक खातों में 51 हजार करोड़ रुपये की राशि भेजी जा चुकी है। विगत साढ़े पांच वर्षों में प्रदेश में क्रय केन्द्रों के माध्यम से बिना किसी बिचौलिये के अन्नदाता किसानों से उनके उत्पाद सीधे क्रय कर उन्हें एम0एस0पी0 का लाभ डी0बी0टी0 के माध्यम से दिया गया।

मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश के गन्ना किसानों को 01 लाख 84 हजार करोड़ रुपये के गन्ना मूल्य का भुगतान किया गया है। कोरोना महामारी के दौरान भी प्रदेश की चीनी मिलों को बन्द नहीं होने दिया गया, सभी 119 चीनी मिलों का संचालन किया गया। वर्तमान सरकार के कार्यकाल में प्रदेश में नई चीनी मिलें लगायी गयी। चौधरी चरण सिंह जी की कर्मभूमि में नई चीनी मिल की स्थापना की गई। इसी तरह मुण्डेरवा तथा जनपद गोरखपुर के पिपराइच में नई चीनी मिलें लगाई गई। मोहिउद्दीनपुर तथा नजीबाबाद स्थित चीनी मिलों की क्षमता का विस्तार किया गया। आज हमारे अन्नदाता किसान प्रदेश की कृषि विकास दर को बढ़ाने में अपना योगदान दे रहे हैं तथा अपनी मेहनत तथा शासन की योजनाओं का लाभ प्राप्त करते हुए सम्मानजनक ढंग से आगे बढ़ने का कार्य कर रहे हैं, यह एक नई स्थिति है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि विगत आठ वर्षों से देश ने देखा है कि खेती में भी तकनीक का उपयोग हो सकता है। उत्तर प्रदेश में लघु और सीमांत किसानों की संख्या ज्यादा है। तकनीक अपनाने के लिए जोत का आकार बड़ा होना आवश्यक है। छोटे किसान तकनीक का ज्यादा प्रयोग नहीं कर सकते हैं। कृषक उत्पादक संगठन इस दिशा में महत्वपूर्ण भूमिका का निर्वहन कर सकते हैं। उत्तर प्रदेश को देश की अर्थव्यवस्था का ग्रोथ इंजन बनाने तथा प्रदेश को सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था के रूप में आगे बढ़ाने के लिए कृषि विकास दर को वर्तमान दर से दोगुना करना आवश्यक है। उत्तर प्रदेश में इसकी क्षमता है। प्रदेश यह कार्य कर सकता है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि उत्तर प्रदेश में देश की कुल आबादी का 16 प्रतिशत हिस्सा निवास करता है। जबकि हमारे पास देश की कुल 11 प्रतिशत कृषि भूमि है। यह कृषि भूमि देश की सबसे उर्वरा भूमि है। हमारे यहां सबसे अच्छे जल संसाधन भी हैं। इस 11 प्रतिशत भूमि से प्रदेश का अन्नदाता किसान देश के कुल खाद्यान्न के 20 प्रतिशत की आपूर्ति करता है। इस क्षमता को बढ़ाने की आवश्यकता प्रदेश तथा देश में महसूस की जा रही है।

उत्तर प्रदेश में यह क्षमता है कि इसे आगे बढ़ा सके। प्रधानमंत्री जी ने देश को 05 ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था बनाने की बात की है। इसके लिए उत्तर प्रदेश को 01 ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था बनाना है। इसके लिए आवश्यक है कि राज्य में कृषि विकास दर को बढ़ाया जाए। कृषि विकास दर को बढ़ाने में एफ0पी0ओ0 तथा तकनीकी बड़ी भूमिका का निर्वहन कर सकती है। यह आज की सबसे बड़ी आवश्यकता है। डबल इंजन की सरकार ने इस दिशा में प्रयास प्रारम्भ किये हैं।

मुख्यमंत्री ने कहा कि उत्तर प्रदेश में राज्य सरकार द्वारा 04 तथा केन्द्र सरकार द्वारा 02 कृषि विश्वविद्यालयों का संचालन हो रहा है। प्रदेश के सभी 75 जनपदों में कुल 89 कृषि विज्ञान केन्द्र संचालित हो रहे हैं। सभी कृषि विज्ञान केन्द्रों में किसानों के प्रशिक्षण के कार्यक्रम संचालित हो रहे हैं। प्रधानमंत्री जी ने राष्ट्रीय प्राकृतिक खेती मिशन के रूप में देश के अन्नदाता किसानों के लिए एक नया कॉन्सेप्ट दिया है। इस वर्ष मानसून देरी से आया, लेकिन प्राकृतिक खेती से जुड़े हुए किसानों की कम सिंचाई में भी उत्पादकता अच्छी थी। 01 एकड़ खेती में किसानों को फर्टिलाइजर, केमिकल तथा पेस्टिसाइड के लिए लगभग 15 हजार रुपये का खर्च आता है। जबकि प्राकृतिक खेती के माध्यम से लागत मात्र 01 हजार रुपये आती है। 14 हजार रुपये की बचत एक एकड़ की खेती में होती है। इसके माध्यम से अच्छी उत्पादकता भी बनी रहती है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश सरकार ने प्राकृतिक खेती के उत्पादों को सर्टिफिकेशन से जोड़ने की कार्यवाही प्रारम्भ की है। इसके माध्यम से उन उत्पादों को बाजार में अच्छे मूल्य मिलेंगे। प्रदेश में गंगा के तटवर्ती 27 जनपदों तथा बुन्देलखण्ड के सभी 07 जनपदों में भारत सरकार के साथ मिलकर प्राकृतिक खेती के कार्यक्रम को मिशन मोड के साथ आगे बढ़ाया गया है। वैश्विक महामारी कोरोना के दौरान जब पूरी दुनिया पस्त थी, अकेले कृषि सेक्टर ही ऐसा था, जो डटकर महामारी का सामना कर रहा था। इसने विकास दर को गिरने नहीं दिया था। आज इसका परिणाम है कि सभी क्षेत्रों में नया विश्वास जगा है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में सभी क्षेत्रों में सम्भावनाएं हैं। हम सहफसली, औद्यानिक फसलों, सब्जियों के उत्पादन तथा उनके निर्यात की कार्यवाही एवं पशुपालन आदि के लिए अच्छे प्रयास प्रारम्भ कर उन्हें बढ़ावा दे सकते हैं। तकनीक के माध्यम से अन्नदाता किसान पेस्टिसाइड तथा जीवामृत आदि के छिड़काव के लिए मैनुअली कार्य करने के बजाय, ड्रोन का उपयोग करें, तो इससे समय की बचत होगी तथा लागत भी कम होगी। इन सभी के बारे में प्रशिक्षण लेना तथा इन कार्यक्रमों को आगे बढ़ाना यह महत्वपूर्ण है। आज डबल इंजन की सरकार प्रधानमंत्री जी की प्रेरणा व मार्गदर्शन से इन कार्यक्रमों को आगे बढ़ा रही है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि आज के कार्यक्रम में जिन प्रगतिशील किसानों को सम्मानित किया गया है, उन्होंने लागत को कम करके कृषि व खाद्यान्न की उत्पादकता को बढ़ाने के साथ-साथ औद्यानिक फसलों के उत्पादन में भी बड़ी भूमिका का निर्वहन किया है। कार्यक्रम में सम्मानित हुए अन्नदाता किसानों तथा एफ0पी0ओ0 का अभिनन्दन करते हुए उन्होंने कहा कि सभी प्रगतिशील किसान स्वयं को कृषि विज्ञान केन्द्रों तथा कृषि विश्वविद्यालय से जोड़ते हुए अन्य किसानों को भी प्रेरित करेें।

कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए कृषि मंत्री श्री सूर्य प्रताप शाही ने कहा कि चौधरी चरण सिंह जी का कहना था कि देश के विकास का रास्ता खेत व खलिहानों से होकर गुजरता है। प्रधानमंत्री जी के नेतृत्व में विगत 08 वर्षों से देश में व मुख्यमंत्री जी के नेतृत्व में विगत साढ़े पांच वर्षों से प्रदेश में किसानों की आमदनी को बढ़ाकर उन्हें समृद्ध व सम्पन्न बनाने के लिए लगातार प्रयास किये जा रहे हैं। प्रदेश में किसानों की सम्पन्नता के लिए मुख्यमंत्री जी के नेतृत्व में नीतियां बनाकर उन्हें जमीन पर उतारा गया है। आज कृषि के डिजिटलाइजेशन का युग है। तकनीक के माध्यम से खेती में उत्पादकता बढ़ायी जा सकती है।

इस अवसर पर उद्यान एवं कृषि विपणन राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) श्री दिनेश प्रताप सिंह, कृषि राज्य मंत्री श्री बलदेव सिंह ओलख, कृषि उत्पादन आयुक्त श्री मनोज कुमार सिंह, अपर मुख्य सचिव कृषि श्री देवेश चतुर्वेदी, अध्यक्ष उपकार कैप्टन विकास गुप्ता, सूचना निदेशक श्री शिशिर एवं वरिष्ठ अधिकारीगण, विभिन्न एफ0पी0ओ0 के प्रतिनिधि तथा कृषकगण उपस्थित थे।

राज्‍यों से जुड़ी हर खबर और देश-दुनिया की ताजा खबरें पढ़ने के लिए नार्थ इंडिया स्टेट्समैन से जुड़े। साथ ही लेटेस्‍ट हि‍न्‍दी खबर से जुड़ी जानकारी के लि‍ये हमारा ऐप को डाउनलोड करें।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

This site uses Akismet to reduce spam. Learn how your comment data is processed.

Back to top button

mahjong slot

spaceman slot

https://www.saymynail.com/

slot bet 200

slot garansi kekalahan 100

rtp slot

Slot bet 100

slot 10 ribu

slot starlight princess

https://moolchandkidneyhospital.com/

situs slot777

slot starlight princes

slot thailand resmi

slot starlight princess

slot starlight princess

slot thailand

slot kamboja

slot bet 200

slot777

slot88

slot thailand

slot kamboja

slot bet 200

slot777

slot88

slot thailand

slot kamboja

slot bet 200

slot777

slot88

slot thailand

slot kamboja

slot bet 200

slot777

slot88

ceriabet

ceriabet

ceriabet

klikwin88

klikwin88

klikwin88

klikwin88

klikwin88

klikwin88

klikwin88

klikwin88

klikwin88

klikwin88

klikwin88

klikwin88

klikwin88

klikwin88

slot starlight princess

ibcbet

sbobet

roulette

baccarat online

sicbo