
उत्तर प्रदेश की नौकरशाही में बड़ा बदलाव संभव, मनोज सिंह को सेवा विस्तार मिलने पर गोपनीयता बरकरार, केन्द्र के पाले में फैसला
मात्र छह दिन का समय बचा है, राज्य की नौकरशाही की सर्वोच्च कुर्सी पर कौन बैठेगा? इस सवाल की उल्टी गिनती शुरु हो गई है। राज्य सरकार की निगाहें केन्द्र के निर्णय पर है। सरकार को उस चिठ्ठी (मेल) का इंतजार है जिसमें वर्तमान मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह को सेवा विस्तार दिए जाने का संदेश हो।
दरअसल, मौजूदा मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह 31 जुलाई को रिटायर हो जाएंगे। चंद दिनों में ही नौकरशाही और राजनीतिक हलकों के सबसे ज्वलंत सवाल का जवाब मिल जाएगा कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के करीबी माने जाने वाले मनोज कुमार सिंह को सेवा विस्तार मिलेगा या फिर कोई नया चेहरा इस महत्वपूर्ण कुर्सी को संभालेगा?
सूत्रों की माने तो राज्य सरकार ने केन्द्र को भेजे पत्र में मनोज सिंह की कार्यक्षमता और अनुभव का हवाला देते हुए आने वाले पंचायत चुनाव तक इस कुर्सी के मद्देनजर यथास्थिति बनाये रखने का आग्रह किया है।
ऐसे में न केवल योगी सरकार बल्कि केंद्र के लिए भी यह निर्णय अहम होगा। चूंकि 31 जुलाई को वर्तमान मुख्य सचिव को सेवानिवृत्त होना है और राज्य सरकार उन्हें सेवा विस्तार दिलाने की कोशिशों में है। यहां तक कि दिल्ली में कई स्तरों पर बात की गई है। इसी के मद्देनजर मनोज कुमार सिंह के अपने कार्यकाल में उत्तर प्रदेश को एक ट्रिलियन डॉलर इकॉनमी बनाने के रोडमैप को गति देने, ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट 2024, ग्राउंड ब्रेकिंग सेरेमनी और निवेश रणनीतियों में उनकी भूमिका की सराहना करते हुए जबरदस्त पैरोकारी की गई है। निकट भविष्य के फाइनेंशियल ग्रोथ पॉलिसी का भी हवाला दिया गया है।
सेवा विस्तार मिला तो आश्चर्य नहीं
हालांकि, मुख्य सचिव पद पर सेवा विस्तार मिला तो आश्चर्य भी नहीं। पहले भी अनूप चंद्र पांडे, राजीव कुमार और दुर्गा शंकर मिश्रा जैसे अफसरों को विस्तार दिया जा चुका है। फिर भी अगर केंद्र से एक्सटेंशन की मंजूरी नहीं मिली तो तीन सीनियर अफसर इस दावेदारी में हैं। इनमें पहला नाम 1989 बैच के आईएएस अधिकारी एसपी गोयल हैं। एसपी गोयल मौजूदा समय में मुख्यमंत्री के अपर मुख्य सचिव हैं।
अनुभवी हैं और क्षमतावान भी। 1989 बैच के ही देवेश चतुर्वेदी भी इसी प्रोफाइल के हैं। फिलहाल केंद्र में कृषि एवं किसान कल्याण विभाग के सचिव हैं और योगी आदित्यनाथ जब सांसद थे तो वह गोरखपुर के डीएम रहे थे। वहीं तीसरे नंबर पर हैं 1990 बैच के दीपक कुमार जो वर्तमान में एपीसी, वित्त, माध्यमिक और बेसिक शिक्षा जैसे अहम विभागों की बागडोर संभाले हुए हैं।