
महंत आवास पर बाबा विश्वनाथ का तिलकोत्सव शुरू, काशी की जनता ही बराती और घराती की भूमिका में
वसंत पंचमी पर काशीपुराधिपति श्री बाबा विश्वनाथ के तिलक का उत्सव टेढ़ीनीम स्थित विश्वनाथ मंदिर के महंत आवास पर आरंभ हो गया है। शहनाई की मंगल ध्वनि और डमरुओं के निनाद के बीच परंपरागत रस्में पूरी की जा रही हैं।
मान्यता है कि महाशिवरात्रि पर बाबा का विवाह, रंगभरी एकादशी पर गौना तो इससे पहले वसंत पंचमी पर तिलकोत्सव होता है। इसके साथ ही काशीवासियों पर होली का रंग चढ़ना शुरू हो जाता है। 357 से ज्यादा वर्षों से से चली आ रही बाबा विश्वनाथ के तिलकोत्सव की परंपरा में काशी की जनता ही बराती और घराती की भूमिका में होती है।
शनिवार तड़के चार से साढ़े चार बजे तक बाबा विश्वनाथ की पंचबदन रजत मूर्ति की मंगला आरती उतारी गई। प्रात: छह से 8:00 बजे तक ब्राह्मणों द्वारा चारों वेदों की ऋचाओं के पाठ के साथ बाबा का दुग्धाभिषेक किया गया। सुबह 8:15 बजे से बाबा को फलाहार का भोग अर्पित किया गया।
वसंत पंचमी पर लगाई पुण्य की डुबकी
वसंत पंचमी पर स्नान-दान के लिए काशी के दशाश्वमेध समेत अन्य घाटों पर श्रद्धालुओं का रेला उमड़ा। इसमें स्थानीय के साथ ही आसपास के जिलों से भी लोगों की भीड़ रही। शनिवार सुबह गंगा घाटों की ओर जाने वाले रास्तों पर भीड़ देकी गई। स्नान के बाद बाबा दरबार में भी आस्था व्यक्त करने के लिए भक्त पहुंचे।