
बाढ़ से सम्बन्धित जनपदों में स्थानीय आवश्यकताओं के अनुरूप राहत एवं बचाव कार्य जारी रखे जाएं
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आज अपने सरकारी आवास पर आहूत एक बैठक में वरिष्ठ अधिकारियों की उपस्थिति में जोन, मण्डल, रेंज व जनपद स्तर के महत्वपूर्ण पदों पर तैनात अधिकारियों के साथ वर्चुअल माध्यम से प्रदेश की कानून-व्यवस्था तथा लोककल्याणकारी कार्यक्रमों की समीक्षा की।
उन्होंने बैठक में बाढ़ की वर्तमान स्थिति में आमजन के राहत एवं बचाव कार्यों को बेहतर करने, पर्व और त्योहारों के सौहार्दपूर्ण माहौल में आयोजन आदि के संबंध में तैयारियों की गहन समीक्षा की और आवश्यक दिशा-निर्देश दिए।
मुख्यमंत्री ने कहा कि आगामी दिनों में नागपंचमी, श्रावण सोमवार, रक्षाबंधन, चेहल्लुम, जन्माष्टमी और काकोरी ट्रेन एक्शन की वर्षगांठ जैसे पर्व-त्योहार हैं। साथ ही, प्रदेश में पुलिस भर्ती परीक्षा भी आयोजित हो रही है।
निश्चित रूप से यह समय कानून-व्यवस्था की दृष्टि से संवेदनशील है। इसके दृष्टिगत प्रत्येक जनपद की पुलिस और स्थानीय प्रशासन को 24×7 अलर्ट रहना होगा।
मुख्यमंत्री ने कहा कि इस वर्ष अब तक 12 जनपदों में 120 प्रतिशत से अधिक वर्षा हुई है। जबकि 27 जनपदों में सामान्य वर्षा की स्थिति रही है। 80 से 60 प्रतिशत कम वर्षा वाले 18 जनपद हैं। 14 जनपदों में 60 से 40 प्रतिशत अत्यधिक कम वर्षा हुई है।
जौनपुर, शामली, फतेहपुर ऐसे जनपद हैं, जहां 40 प्रतिशत से भी कम वर्षा दर्ज की गई है। बलिया, सीतापुर, बांदा, बाराबंकी, बिजनौर, फर्रुखाबाद, प्रयागराज और वाराणसी जनपदों में अभी भी बाढ़ की स्थिति है। सभी सम्बन्धित जनपदों में स्थानीय आवश्यकताओं के अनुरूप राहत एवं बचाव कार्य जारी रखे जाएं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि बाढ़ प्रभावित लोगों को दी जा रही खाद्य सामग्री की गुणवत्ता से कोई समझौता नहीं किया जा सकता। कहीं भी निर्धारित मात्रा से कम, बासी अथवा खराब गुणवत्ता की सामग्री कतई वितरित नहीं होनी चाहिए। यदि वेंडर द्वारा आपूर्ति में गड़बड़ी की जाती है तो उसके विरुद्ध तत्काल कार्यवाही की जाए।