लखनऊ। उत्तर प्रदेश के वित्त मंत्री सुरेश कुमार खन्ना ने बृहस्पतिवार को अपना बजट भाषण पेश करते हुए कहा कि वर्ष 2017 में योगी आदित्यनाथ सरकार के सत्ता में आने के बाद से राज्य के विभिन्न जिलों में आपराधिक तत्वों को निशाना बनाकर चलाए गए अभियानों के दौरान कुल 221 अपराधी मुठभेड़ में मारे गए, जबकि 8,022 अन्य घायल हुए।
उन्होंने कहा, ‘‘ अपने पहले कार्यकाल की शुरुआत (2017) में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को एक ऐसा राज्य विरासत में मिला जो भयावह कानून-व्यवस्था की स्थिति से जूझ रहा था, जिसमें बड़े पैमाने पर आपराधिक गतिविधियां और माफिया राज था। शांति बहाल करने के लिए प्रतिबद्ध सरकार ने अपराध के प्रति बिल्कुल बर्दाश्त नहीं करने की नीति अपनाई और पूरे राज्य में अपराधियों, गैंगस्टरों और माफिया गुर्गों के खिलाफ चौतरफा अभियान चलाया।”
उन्होंने कहा कि 20 मार्च, 2017 से 23 जनवरी, 2025 के बीच कुख्यात अपराधियों पर सरकार की कार्रवाई से महत्वपूर्ण परिणाम सामने आए हैं। उन्होंने कहा, ‘‘वर्ष 2017 से राज्य के विभिन्न जिलों में आपराधिक तत्वों को लक्षित करने वाले अभियानों के दौरान कुल 221 अपराधी मुठभेड़ में मारे गए, जबकि 8,022 अन्य घायल हुए।”
उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने 68 पहचाने गए माफिया के खिलाफ प्रभावी ढंग से मुकदमे की पैरवी की जिससे 73 मामलों में दोषसिद्धि सुनिश्चित की गई। उन्होंने कहा कि इनमें से 31 माफिया को जुर्माने के साथ आजीवन कारावास या कठोर कारावास की सजा सुनाई गई, जबकि दो को मृत्युदंड दिया गया। महिलाओं और नाबालिगों के खिलाफ अपराध के क्षेत्र में कुल 27,425 मामले दर्ज किए गए।
खन्ना ने कहा कि यौन अपराधों से बच्चों के संरक्षण (पॉक्सो) अधिनियम के तहत 11,254 मामले दर्ज किए गए और 3,775 दहेज हत्या के मामलों का समाधान किया गया, जिससे पीड़ितों को न्याय सुनिश्चित हुआ। उन्होंने कहा कि साइबर अपराध से निपटने में राज्य के प्रयास भी उल्लेखनीय रहे हैं, जिसमें 13,83,232 मोबाइल नंबरों को ब्लॉक किया गया, जिससे उत्तर प्रदेश ऐसे उपाय करने के लिहाज से देश में शीर्ष पर रहा।
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