
मकर संक्रांति पर वाराणसी में लोगों ने गंगा में लगाई आस्था की डुबकी
सूर्य के धनु राशि से मकर राशि में प्रवेश करने पर आज देशभर में मकर संक्रांति मनाई जा रही है। मकर संक्रांति के बाद से ही शुभ कार्यों की शुरुआत हो जाती है। मकर संक्रांति के अवसर पर गंगा घाटों पर स्नान करने व दान करने का विधान है। हर वर्ष 14 जनवरी को मकर संक्रांति का पर्व मनाया जाता है, जिसकी वजह से धर्म और आस्था की नगरी काशी में गंगा घाटो पर स्नान करने वालों की भीड़ नजर आयी।
ऐसे में लोगों ने बड़ी ही श्रद्धा के साथ गंगा में डुबकी लगाई। मकर संक्रांति पर सूर्य उत्तरायण से दक्षिणायन होते है और आज के दिन से देवों के दिन की भी शुरुवात हो जाती है जिसके कारण शुभ कार्यों की शुरुवात भी हो जाती है।
काशी के गंगा घाटों पर दूर दराज से आये दर्शनार्थियों का रेला सा लगा रहा और लोग अपने परिजनों और रिश्तेदारों के साथ आस्था के गोते लगाते देखे गए। स्नान करने आये लोगों का कहना है कि आज के दिन गंगा में स्नान का विशेष फल प्राप्त होता है।
काशी के दशाश्मेध घाट पर गंगा स्नान करने वाले स्नान के बाद बाबा विश्वनाथ के दर्शन करते है। यहां एक खिचड़ी बाबा का मंदिर भी जहां वर्ष पर्यन्त खिचड़ी का भोग लगाया जाता है और सभी को प्रसाद स्वरूप खिचड़ी का वितरण किया जाता है।